Tuesday, July 21, 2015

पुस्तक ( दोहा - संग्रह ) - '' मेरी छोटी आँजुरी '' से लिए गए दोहे ( भाग - 1 )









( 1 )

दोहा , दूहा , दोहरा , पहला हिन्दी छन्द । 
जिसमें अनगिनती रचित , मुक्तक और प्रबन्ध । । 

( 2 )

कोई छन्द न अब तलक , दोहा जैसा और । 
जो कवियों का प्रिय रहा , कविता का सिरमौर । । 

( 3 )

गुरु - लघु गणना -भेद से , हैं विभेद पच्चीस । 
कौशल - बुद्धि विवेक युत , सृष्टा हो इक्कीस । । 

( 4 )

दोहा मात्रिक छन्द है , लघु वामन - सा ठेठ । 
दो बाहों में भू -गगन , लेता सभी समेट । । 

( 5 )

लिखते हैं दो चरण में , चार चरण का छन्द । 
कथ्य खरा , बाँकी कहन , दोहा बूँद समन्द । । 

( 6 )

तेरह  - ग्यारह पर सुयति , अन्त दीर्घ - लघु इष्ट । 
भाव सिन्धु सम बूँद गत , दोहा लब्ध - प्रतिष्ठ । । 


                                               - श्रीकृष्ण शर्मा 

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पुस्तक - '' मेरी छोटी आँजुरी ''  ,  पृष्ठ -  32









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